ईट भठ्ठे पर काम करने वाले मजदूर की झोपड़ी में झोपड़ी में लगी आग, जिंदा जले तीन मासूम, मां की हालत गंभीर
प्रमोद यादव
जमानियां/गाजीपुर। कोतवाली क्षेत्र के लहुआर गांव के पास स्थित ईट भट्ठे पर मजदूरी करने वाले बबलू वनवासी अपने परिवार के साथ झोपडी में सो रहा था। बुधवार की रात करीब दो बजे अचानक अज्ञात कारणों से झोपडी धूं-धूं कर जलने लगी। जिसमें तीन बच्चों की मौत हो गयी और एक महिला का अभी भी इलाज चल रहा है।
परिजनों बबलू बनवासी ने बताया कि रात्रि में खाना खाने के बाद पूरा परिवार झोपड़ी में सोने चले गये और देर रात करीब दो बजे अचानक झोपड़ी में आग लग गई। जिस पर वह अपने बच्चों को बचाने कि कोशिश करने लगा। लेकिन तब तक आग ने बिकराल रूप ले लिया। वही आस-पास के लोग भी मौके पर पहुंच गये और आग को बुझाने में जुट गये। कड़ी मशक्कत के बाद किसी तरह से सभी बच्चों और पत्नी को बाहर निकाला गया।
जिसमें से कुमारी पूजा (13), चन्द्रका (7) की मौके पर ही मौत हो गई। जबकि गंभीर रूप से झुलसे पुत्र डमरू (3) और पत्नी भागरथी देवी (32) को वाराणसी ले जाया गया। जहां इलाज के दौरान 3 वर्षीय डमरू कि मौत हो गई। वही पत्नी भागरथी का इलाज चल रहा है। आग लगी कि घटना कि सूचना पर सीओ हितेन्द्र कृष्ण, तहसीलदार आलोक कुमार, नायब तहसीलदार राकेश कन्नौजिया सहित हल्का लेखपाल ने मौका मुआयना किया।
तहसीलदार आलोक कुमार ने बताया कि घटना से उच्चाधिकारियों को अवगत करा दिया गया है। पीएम रिर्पोट के बाद पीड़ितों को सरकार कि ओर से हर संभव मद्द दिलाने का प्रयास किया जाएगा। वही कोतवाल राजीव कुमार सिंह ने बताया कि चंदौली जनपद के दिग्गी गांव से बबलू बनवासी अपने परिवार के साथ लहुआर गांव के ईट भट्ठे पर करीब 3 माह पूर्व काम करने आया था। आग लगने का कारण स्पष्ट नही हो पाया है। आग लगने से तीन बच्चों कि मौत हो गयी है। घटना में पत्नी भागरथी देवी भी झुलस गयी है। जिसका इलाज वाराणसी में चल रहा है। वर्तमान समय मे जांच चल रही है।